#1

चांद का कुर्ता | Chaand Ka Kurta

जून 08, 2015 ・0 comments
चांद का कुर्ता  हठ कर बैठा चांद एक दिन, माता से यह बोला, "सिलवा दो मां, मुझे ऊन का मोटा एक झिंगोला। सन-सन चलती हवा रात भर, जाड़...
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#2

मई 10, 2015 ・0 comments
ऐसा नहीं कि उन से मोहब्बत नहीं रही जज़्बात में वो पहले-सी शिद्दत नहीं रही सर में वो इंतज़ार का सौदा नहीं रहा दिल पर वो धड़कनों की हुक़...
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#3

huki Jhuki Si Nazar Beqarar Hai Ki Nahi | झुकी झुकी सी नज़र बेक़रार है कि नहीं

मई 05, 2015 ・0 comments
झुकी झुकी सी नज़र बेक़रार है कि नहीं दबा दबा सा सही दिल में प्यार है कि नहीं तू अपने दिल की जवाँ धड़कनों को गिन के बता मेरी तरह तेरा द...
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#4

कर चले हम फ़िदा जानो-तन साथियो | kar chale hum fida

मई 04, 2015 ・0 comments
कर चले हम फ़िदा जानो-तन साथियो अब तुम्हारे हवाले वतन साथियो साँस थमती गई, नब्ज़ जमती गई फिर भी बढ़ते क़दम को न रुकने दिया कट गए सर हमारे तो...
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#5

माँ

अप्रैल 30, 2015 ・0 comments
(Author-प्रेमचंद) आज बन्दी छूटकर घर आ रहा है। करुणा ने एक दिन पहले ही घर लीप-पोत रखा था। इन तीन वर्षो में उसने कठिन तपस्या करके जो दस...
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#6

प्राप्ति

अप्रैल 29, 2015 ・0 comments
तुम्हें खोजता था मैं, पा नहीं सका, हवा बन बहीं तुम, जब मैं थका, रुका । मुझे भर लिया तुमने गोद में, कितने चुम्बन दिये, मेरे मानव-म...
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#7

एक बूँद

अप्रैल 16, 2015 ・0 comments
ज्यों निकल कर बादलों की गोद से थी अभी एक बूँद कुछ आगे बढ़ी सोचने फिर-फिर यही जी में लगी, आह! क्यों घर छोड़कर मैं यों कढ़ी? देव मेरे भा...
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